परम पूज्य संतश्री आशाराम बापूजी कहते हैं - "धन तीन तरह का होता है - वित्त, लक्ष्मी एवं महालक्ष्मी। महान उद्देश्य अर्थात् परमात्मा प्राप्ति के लिये जिस लक्ष्मी का उपयोग हो तो समझो हमारे घर में वह लक्ष्मी 'महालक्ष्मी' होकर आयीं हैं। यह महालक्ष्मी भगवान नारायण से मिलाने वाली होंगी।"
इस दिन संध्या के समय घर के बाहर हाथ में जगता हुआ दीपक लेकर यमराज देव की प्रसन्नता व अकाल मृत्यु टालने हेतु निम्न मंत्र के साथ दीपदान करना चाहिये :-
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